उन्नाव में ट्रेन की चपेट में आने से दो किसानों की हुई दर्दनाक मौत, परिजन रो रो कर हुए बेहाल


उन्नाव जिले में अलग-अलग स्थानों पर ट्रेन की चपेट में आकर दो किसानों की मौत हो गई। इस घटना के बाद दोनों किसानों के परिवारवालों का रो रो कर बुरा हाल है। पहली घटना माखी थाना क्षेत्र में खेत जाने के लिए ट्रैक पार करते समय एक किसान हादसे का शिकार हो गया, जबकि दूसरा किसान भैसों को बचाने में अपनी जान गंवा बैठा। 

मिल रही जानकारी के मुताबिक माखी थाना क्षेत्र के मोहल्ला मझखोरिया के रहने वाले 75 साल के इंदुआ खेती कर परिवार का पालन पोषण करते थे। शनिवार सुबह आठ बजे वह घर से खेत जाने के लिए निकले थे। रेलवे लाइन पार करते समय वह बालामऊ से कानपुर की ओर जा रही बालामऊ पैसेंजर ट्रेन की चपेट में आ गए। जिससे मौके पर ही उनकी मौत हो गई। 

हादसा देख आसपास खेतों में काम कर रहे किसान आए और परिजनों के साथ पुलिस को सूचना दी। मौत की खबर घर पहुंचते ही कोहराम मच गया। पति की मौत पर पत्नी फूलमती और चार बच्चों में एक बेटा और तीन बेटियां बेहाल हैं। थानाध्यक्ष रामआसरे चौधरी ने बताया कि शव का पोस्टमार्टम कराया गया है।

इसी प्रकार सदर कोतवाली के गांव पहलीखेड़ा गांव के रहने वाले किसान 50 साल के रामबिलास यादव शनिवार सुबह मवेशी चराने के लिए निकले थे। भैंस चरते-चरते उन्नाव-रायबरेली रेलमार्ग के ट्रैक पर पहुंच गई। सुबह करीब नौ बजे उन्नाव की ओर से जा रही मालगाड़ी को आता देख रामबिलास भैंस को भगाने पहुंचे। भैंस तो वहां से हट गई लेकिन वह ट्रैक नहीं पार कर पाए और मालगाड़ी की चपेट में आने से उनकी मौत हो गई। मृतक की बहू रेखा ने बताया कि पति संजय मुंबई में प्राइवेट नौकरी करते हैं। उन्हें सूचना दी गई है। मृतक की दो बेटियां हैं, जिनकी शादी हो चुकी है। पत्नी की भी बीमारी के चलते मौत हो गई थी। कोतवाल राजेश पाठक ने बताया कि ट्रेन की चपेट में आने से किसान की मौत हुई है। शव का पोस्टमार्टम कराया गया है।

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